दतिया पुलिस अधीक्षक दतिया वीरेंद्र कुमार मिश्रा के निर्देशन में पुलिस लाइन दतिया के सामुदायिक भवन में आयोजित तीन दिवसीय नवीन आपराधिक अधिनियम 2023 प्रशिक्षण कार्यक्रम का प्रथम चरण आज सफलतापूर्वक सम्पन्न हुआ।
पुलिस मुख्यालय भोपाल के निर्देशानुसार आयोजित इस प्रशिक्षण का उद्देश्य अनुसंधान एवं पर्यवेक्षण अधिकारियों को भारतीय न्याय संहिता 2023, भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता 2023, और भारतीय साक्ष्य अधिनियम 2023 की
नवीन धाराओं, प्रक्रियाओं, और तकनीकी पहलुओं से अवगत कराना था, समापन अवसर पर अति. पुलिस अधीक्षक सुनील कुमार शिवहरे ने प्रशिक्षण की समीक्षा की और प्रतिभागियों से उनके अनुभव
साझा करने का आग्रह किया। उन्होंने कहा,नवीन आपराधिक कानून केवल प्रक्रियात्मक बदलाव नहीं, बल्कि न्यायिक दृष्टिकोण में आमूलचूल परिवर्तन का प्रयास है। इनका प्रभावी क्रियान्वयन तभी संभव है, जब हमारे अनुसंधान अधिकारी विधिक ज्ञान, तकनीकी दक्षता, और संवेदनशीलता से युक्त हों।
प्रशिक्षित अनुसंधान अधिकारी ही सशक्त न्याय व्यवस्था की नींव है। उन्होंने प्रतिभागियों से संवाद कर प्रशिक्षण की उपयोगिता पर सुझाव आमंत्रित किए और फीडबैक फॉर्म के माध्यम से उनकी राय संकलित की,विशेषज्ञों द्वारा प्रभावी प्रशिक्षण, प्रशिक्षण में विषय विशेषज्ञों ने विभिन्न महत्वपूर्ण पहलुओं पर प्रकाश डाला:निरीक्षक अंबर सिंह सिकरवार ने नवीन आपराधिक अधिनियम की प्रमुख धाराओं के विधिक
और व्यावहारिक पक्षों की विस्तृत जानकारी दी, फोरेंसिक अधिकारी डॉक्टर सतीश कुमार मान ने वैज्ञानिक व्यवहारिक परिदृश्य और नकली जांच, साक्ष्य संकलन, घटनास्थल की सुरक्षा, और डिजिटल साक्ष्यों के महत्व पर तथ्यपरक व्याख्यान दिया,फिंगरप्रिंट एक्सपर्ट उप निरीक्षक जितेंद्र सगर ने चांस प्रिंट एकत्रीकरण,
फोरेंसिक साक्ष्य की श्रेणियों, और कोर्ट में उनकी स्वीकार्यता पर व्यावहारिक प्रशिक्षण प्रदान किया। महिला संबंधी अपराधों में निरीक्षक मोनिका मिश्रा ने महिलाओं और बच्चों के विरुद्ध अपराध से संबंधित कानून में सुधार के संबंध में प्रशिक्षण दिया गया।
NCL जागरूकता सृजन पर लघु फिल्में प्रधान आरक्षक पंचम सिंह द्वारा दिखाई गई, सीसीटीएनएस टीम निरीक्षक अंबर सिंह सिकरवार व प्रधान आरक्षक ओमप्रकाश मिश्रा ने BNSS धारा 172, ई-एफआईआर, और जीरो एफआईआर के प्रावधानों की प्रोजेक्टर के
माध्यम से तकनीकी और रोचक प्रस्तुति दी।तकनीकी सहयोग और डिजिटल प्रक्रियाओं पर जोर, सीसीटीएनएस टीम ने तकनीकी संचालन में सहयोग प्रदान कर प्रतिभागियों को नवीन डिजिटल प्रक्रियाओं से अवगत कराया,
जिससे प्रशिक्षण और अधिक प्रायोगिक और प्रभावी बना।इस प्रथम चरण में कुल 57 अधिकारियों और कर्मचारियों को नवीन आपराधिक कानूनों के तहत प्रभावी अनुसंधान के लिए प्रशिक्षित किया गया। प्रशिक्षण का यह क्रम आगे भी जारी रहेगा, ताकि जिले के सभी
अनुसंधान एवं पर्यवेक्षण अधिकारी इन विधानों के प्रति पूर्णतः सजग और सक्षम बन सकें। प्रशिक्षण का सफल समापन रक्षित निरीक्षक सौरभ तिवारी द्वारा किया गया।प्रशिक्षण समापन के दौरान रक्षित निरीक्षक सौरभ तिवारी, सूबेदार होतम सिंह बघेल एवं जिले अधिकारी/कर्मचारी उपस्थित रहेl