फरियादि बलवंत सिंह पिता किशनलाल जाति भील ग्राम कालियाखेड़ी का कहना है की में कल दिनांक 14 अगस्त 2024 को घर से उठ कर अपने खेत पर गया खेत के पास लगभग 1km दूर सीधे रास्ते में सड़क बनाने वाली शिव हरे नामक कंपनी है कंपनी के पास में होटल है, उस पर मे चाय पीने गया। मैं पिछले 6 महीनों से शिव हरे कंपनी के सामने सुसनेर जीरापुर रोड पर स्थित गिट्टी मशीन मालिक बालूसिंह पिता रूगनाथ के यह ड्राइवर बनकर काम कर रहा था है। अब कुछ दिनों से बंध हूं। इस लिए मुझे यह पता था की यह चाय गुटका मिलता है,इसलिए में कंपनी के पास रखी गुमटी (दुकान) पर गुटका चाय के लिए चला गया वह जाकर मुझे पता चला की दुकान मालिक वह नहीं है तो मैं वही बैठ गया इतने में कुछ कंपनी के आदमी आए और मुझसे बोलने लगे तुम चोर हो चोरी के मकसद से आये हो मैने खूब मना किया, की मैं चोर नही हूं मैं तों दुकान पर आया था l
बस इतने में उन लोगो ने मुझे पकड़ लिया और अपने सुपरवाइजर को बुला लिया और सुपर वाइजर ने दुकान वाले को भी बुला लिया। दुकान वाले के साथ 6,7 आदमी और आ गये थे। कंपनी के सुपरवाइजर और दुकान वाले ग्राम पगारिया वालो ने मुझे खुब मारा,मेने बोला में पास के गांव कालियाखेड़ी का हू किसी से भी फोन लगाकर पूछ लो पर उन्होने मेरी एक भी नही सुनी मुझसे मेरी जाति पूछी (भील जाति का हूं) तो मुझे बहुत बुरी-बुरी गालियां दी मादर चोद भिल्लटे,भिलडा, तुम लोग तो पैदाइशी चोर हो। इस प्रकार से कई गालियां दी।और फिर मारने लगे लोहे के तार से मारना चाहा मेने सर बचाया l तार मेरे सिर से लगा और खून बहने लगा एवं मेरे दोनो हाथो को बांध कर पिटा जिसके बाद मुझे चक्कर आने लगे मेने पानी मांगा तों पानी नही पिलाया और दुबारा से उठक बैठक करवाने लगे मेरे पास वीडियो भी है सबूत के तौर पर। जिसके बाद उन्होंने 100 नंबर पर फोन लगाया और पुलिस को बुलाया। पुलिस के आने से पहले उन्होंने सबूत के तौर पर एक थैले में कुछ लोहे के सामान इकट्ठा कर रख दीये । मेरे खिलाफ सबूत खड़ा करने के लिए
पुलिस ने मुझे ही पकड़ लिया और थाने लेकर आ गये l पुलिस ने मुझे डाटा और बोलें की साला चोरी करता है में शरीर पर आई चोट के बारे पुलिस को बताया तो पुलिस वालो ने उल्टा मुझे डाटा और बोले तुम लोगो के साथ तो ऐसा ही होना चाहिए । मैंने पुलिस वालों को बोला सर वहा पर कैमरे लगे होगे उनको चेक करवा लीजिए अगर मैंने चोरी की हो तो, फिर भी मुझे अंदर बंद कर दिया। मेरी रिपोर्ट (मामूली) नाम मात्र की लिखी गई l जिसने मुझे मारा उन लोगों के नाम दिलीप-गोविन्द की चाय की दूकान पर इनके सामने सुपरवाइजर जीतू पंडित तथा एक सेगर साहब के नाम का उनके साथ चार-पांच लोग और थे, इन सभी ने मुझको मारा पीटा l यह मामला सुबह 10 बजे का है । इसके बाद मेरा भाई कमल आ गया cm हेल्प लाइन पर शिकायत करने के बाद मुझे छोड़ा।