प्रशासन ने इस संबंध में मिली शिकायतों को गंभीरता से लेते हुए कॉलोनी सेल के माध्यम से विकास कार्य पूरे नहीं करने वाली कॉलोनियों की जांच शुरू कर दी है। कॉलोनी विकास के नाम पर खानापूर्ति करने वाले कॉलोनाइजर पर अब प्रशासन ने सख्ती शुरू कर दी है।
हर रोज बड़ी संख्या में पीड़ित जनसुनवाई में पहुंच रहे
अधूरे विकास कार्य छोड़ने वाली कॉलोनियों की सूची तैयार
दोषी सिद्ध होने के बाद कॉलोनाइजरों पर चलेगा केस
इंदौर : कॉलोनी विकास की अनुमति लेने के बावजूद दशकों तक विकास कार्य पूरे नहीं करने वाले कॉलोनाइजर और डेवलपर जिला प्रशासन की रडार पर हैं। जिले की एक दर्जन कॉलोनियों की प्रशासन ने जांच शुरू की है, जहां अनुमतियों को दिखाकर आम नागरिकों को प्लॉट बेच दिए गए और विकास कार्य अब तक पूरे नहीं किए गए। परेशान लोग अब जनसुनवाई और अन्य माध्यम से शिकायत कर रहे हैं। शिकायत के आधार पर अधूरे विकास कार्य छोड़ने वाली कॉलोनियों की सूची तैयार कर जांच कराई जा रही है। इसमें दोषी सिद्ध होने के बाद प्रशासन इन कॉलोनाइजरों पर प्राथमिकी दर्ज कराने के साथ ही अन्य कार्रवाई करेगा।
इसमें भिचौली हप्सी, खुड़ैल, सांवेर और महू तहसील की कॉलोनियां चिन्हित की गई हैं। उल्लेखनीय है कि जिला प्रशासन ने बिहाड़िया स्थित ग्रीन लाइफ सिटी कालोनी के 22 भूखंड गत दिनों राजसात किए गए हैं। कॉलोनाइजर अरविंद बंजारी पर प्राथमिकी दर्ज कराई गई।
जनता को परेशान करने वाले कॉलोनाइजरों पर कार्रवाई
विकास कार्य पूरे नहीं कर जनता को परेशान करने वाले कॉलोनाइजरों पर कार्रवाई की जा रही है। दशकों से विकास कार्य नहीं करने वाली कई कॉलोनियों को जांच के दायरे में लिया है। जांच कर जल्द ही इन कॉलोनियों के कर्ताधर्ताओं पर कार्रवाई की जाएगी। – प्रदीप सोनी प्रभारी कॉलोनी सेल
बंधक भूखंड होंगे राजसात
प्रशासन ने आमजन को सुविधा देने के लिए अवैध और अधूरे विकास कार्य वाली कॉलोनियों की जांच शुरू की है। कलेक्टर आशीष सिंह ने स्पष्ट किया है कि विकास कार्य पूरे नहीं कराने वाली कॉलोनियों के बंधक भूखंडों को राजसात किया जाएगा। उनमें इंदौर विकास प्राधिकरण विकास कार्य पूरे कराए जाएंगे।