नीमच

‘सांस का दुश्मन’ बने सप्तपर्णी यानी एल्सटोनिया स्कोलारिस के पेड़

कबीर मिशन समाचार।

(पवन शर्मा)
नीमच। 15 साल पूर्व की परिषद ने नीमच को ग्रीन नीमच क्लीन नीमच बनाने के उद्देश्य से बड़े ही जोश के साथ पूरे शहर में सप्तपर्णी यानी एल्सटोनिया स्कोलारिस के पेड़ लगाए थे जो आज लोगों की ‘सांस के दुश्मन’ बन गए है।
सप्तपर्णी यानी एल्सटोनिया स्कोलारिस नीमच शहर के हर प्रमुख मार्गों जैसे वीरपार्क रोड़, टैगोर मार्ग, सीआरपीएफ रोड़, राजस्व कॉलोनी, अम्बेडकर मार्ग आदि स्थानों पर हर थोड़ी दुरी पर लगाया गया था, जो आज लोगों के लिए जी का जंजाल बन गया है। लोगों को अब प्रतिवर्ष इस मौसम में यह पेड़ परेशानी का सबब बन जाता है। इस पेड़ के आस पास रहने वालों को रोज़ाना शाम होते ही सांस लेने में तकलीफ पहुंचाने वाली स्मेल झेलनी पड़ती है। इस हल्की सर्दी वाले मौसम में जैसे ही इसके फूल निकलते है, वैसे ही आमजन के लिए यह परेशानी खड़ी कर देता है। गर्मी के दिनों में भले ही यह पेड़ ठंडी छांव देता है लेकिन अक्टूबर, नवंबर और दिसंबर में इन मार्गों से निकलना मुश्किल हो जाता है।
अभी शहरवासियों में इन दिनों इस पेड़ को लेकर चर्चा जोरों पर है और कई जगह इसकी कटाई भी शुरू हो गई है।

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