भोपाल ।देश आजाद हुए 75 वर्ष हो गए। हमारे देश ने बर्षगांठ भी मना ली। लेकिन दुर्भाग्य है कि मध्यप्रदेश के एकमात्र अनुसूचित जाति के वीर शहीद मनीराम अहिरवार जिला नरसिंहपुर तहसील गाडरवारा के नगर चीचली में हुए थे। जिन्होंने विषमपरिस्थियों में जब चीचली महल सूना था। ब्रिटिश सेना ने हमला कर दिया था।
गोंडवाना साम्राज्य की रक्षार्थ में मनीराम अहिरवार जी महल की रक्षा और धन वैभव व संपत्ति के लिए अपनी जान की परवाह न कर अंग्रेजी सेना से युद्ध 23 अगस्त सन 1942 में चीचली मैं लडा ।उनके युद्ध में वीर मंशाराम जसाटी जी एवं वीरांगना गौरादेवी शहीद हुए। अनेक लोग गिरफ्तार हुए। वीर मनीराम जी एक अदम्य साहसी और पराक्रमी शूरवीर थे। जिन्होंने अंग्रेजी सेना से अंतिम सांस तक गोलीबारी से आंख-मिचौली कर सैनिकों के छक्के छुड़ा दिए।
अंग्रेजी सेना को युद्ध में घायल कर रक्त रंजित कर जान बचाकर चीचली से भाग जाने को विवश कर चीचली राजमहल पर देश का राष्ट्रीय तिरंगा झंडा फहरा कर जश्न मनाया। कुछ समय बाद अंग्रेजी सेना ने उन्हें छल, कपट और लोगों को प्रलोभन में लेकर जिंदा गिरफ्तार कर अपार जुल्म अत्याचार एवं यातनाएं देकर अंग्रेजों ने स्वयं की बंदीगाह में उनकी बली ले ली।
देश आजाद होने के बाद स्वतंत्रता आंदोलन में योगदान देने वाले महायुद्धाओं की सूची बनाई और देश के स्वतंत्रता संग्राम आन्दोलन में शहीद होने वाले और सहयोगियों को सैनानी घोषित किए गए। लेकिन मनीराम जी अहिरवार का नाम उल्लेख क्यों नहीं? आजादी के बाद कांग्रेस की सरकार बनी कांग्रेस अनुसूचित जाति की हितैषी पार्टी कही जाती है। उसके द्रारा इतनी बड़ी भूल चूक क्यों वीर शहीद मनीराम जी के सुपौत्र मूलचन्द मेधोनिया ने आरोप लगाया है कि ये जानबूझकर जातिगत भेदभाव के आधार पर उपेक्षा और हमारे साथ अन्याय किया गया है।
वीर शहीद मनीराम जी के सुपौत्र मूलचन्द ने केंद्र और राज्य सरकार से शीघ्र मांग की है कि हमारे दादा के द्रारा लडी लडाई में जब दो शहीद हुए है। फिर इनका मध्यप्रदेश के स्वतंत्रता संग्राम सेनानी की शहीदी दस्तावेज में नाम क्यों नहीं? उन्होंने कहा कि यह तो मेरे परिवार के साथ घोर पक्षपात किया गया है।
शहीद सुपौत्र मूलचन्द मेधोनिया ने नरसिंहपुर जिले के स्वतंत्रता आंदोलन की जांच-पड़ताल करवाने और उनके पूज्यनीय अमर शहीद वीर मनीराम जी अहिरवार को अबिलम्ब “राष्ट्रीय शहीद” का दर्जा देने सहित परिवार की सहायता प्रदान करने की माँग की है। जिला नरसिंहपुर की अहिरवार समाज सहित अनुसूचित जाति ने भी मांग का समर्थन करते हुए। वीर मनीराम जी अहिरवार को 23 अगस्त शहादत दिवस के पूर्व सम्मान और गौरव प्रदान करने की मांग की है।