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“विश्व प्रसन्नता दिवस” के उपलक्ष्य पर हुआ विज्ञान मेले आयोजन

धार। जिला संवाददाता। संस्कृति पब्लिक स्कूल जिला धार में विज्ञान एवं प्रौधोगिकी विभाग भारत सरकार नई दिल्ली के सहयोग से परमात्मा सेवार्थ ग्रुप द्वारा आयोजित तीन दिवसीय दिनांक 19 से 21 मार्च 2024 विज्ञान जागरूकता कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के रूप में बोलते हुये डॉ. अमित पाराशर ने अपने उदबोधन में कहा कि हमारे जीवन में खुशी मा बहुत महत्व है। हमेशा खुशी रहना चाहिए और दूसरों को खुश करने जैसे कार्य करना चाहिए। अब हम सभी अपने फोन पर वीडियो कॉलिग के द्वारा एक दूसरे को देखते हुये बात कर सकते है। मनुष्य ने सभी क्षेत्रों में बहुत विकास किया है।

और यह सब विज्ञान की मदद से संभव हो पाया है। हमारा भविष्य विज्ञान से जुडा हुआ है। विज्ञान की मदद से हमने शिक्षा वास्तुषिल्प, स्वास्थ्य, सेवाऐं यातायात, आधुनिक उपकरण, संचार, हथियार, दवाईयाँ, का जैसे सभी क्षेत्रो में बहुत विकास किया है। अब हर व्यक्ति के पास कार, मोटरसाईकिल होती है। मनुष्य का विज्ञान ही इस्तेमाल सकारात्मक कामों में करना चाहिए आजकल विष्व के सभी बडे देष जैसे अमेरिका, ब्रिटेन, फ्रांस, जर्मनी, रूस, परमाणु हथियार बनाने में जुटे हुऐ है विज्ञान का नकारात्मक और गलत इस्तेमाल है।

परमाणु हथियारों की होड से आज हम सभी का भविष्य बडे खतरे में पड गया है।डॉ. प्रशांत जावडेकर ने विज्ञान मेंले में बोलते हुये कहा कि वर्तमान समय में विज्ञान ने इतना विकास कर लिया है। कि हमारा भविष्य पूरी तरह बदल गया है। विज्ञान ने हमारा भविष्य बहुत ही उज्जवल बना लिया है। प्राचीन काल में जहाँ मनुष्य पैदल या बैलगाडी से यात्रा करता था अब वही हम बस, ट्रेन, हबाई जहाज, बुलट ट्रेन, मेट्रो ट्रेन, जैसे अत्याधुनिक साधनों से सफर करते है।

डॉ. निषा ने आगे कहा कि प्रागैतिहासिक काल में जहाँ मनुष्य जानवरों का षिकार करता था और कच्चा मांस खाता था वही आज हम खाना पकाने के लिए ऑटोमेटिक ओवर, एलपीजी गैस चूल्हा, का इस्तेमाल करते है। पहले जहाँ हम टेलीफोन का इस्तेमाल करते थे वही अब मोबाइल फोन, ब्लूटूथ, वाईफाई, इन्टरनेट, कम्प्यूटर, लैपटॉपजैसी तकनीक का इस्तेमाल कर रहे है।डॉ. यश जैन ने कहा कि बढती जनसंख्या के कारण आज विष्व भर के अनेक लोग भुखमरी और कुपोषण से जूझ रहे है भारत में चार करोड बच्चे कुपोषण के षिकार है ऐसे में हमे चाहिए कि विज्ञान की मदद से देष का कृषि उत्पादन बढाया जाए बच्चों को हरी सब्जियां फल पोष्टिक आहार उपलब्ध कराया जाए और कुपोषण को दूर किया जाये।

डॉ. रेखा जौहरी ने आगे कहा कि हर साल कोई न कोई बीमारी, महामारी फैल जाती है जैसे स्वाइन फ्लू, डेगू चिकनगुनिया इन्सेफेलाइटिस या जापानी बुखार, निपाह वायरस, बर्ड फ्लू, मलेरिया से हजारो लोग मारे जाते है। हम विज्ञान की मदद से ऐसी दवायें इजेक्षन और एंटीबायोटिक विकसित कर सकते है। जिससे इन जानलेवा बीमारियों का उपचार किया जा सके। आज जलवायु परिवर्तन एक बडी समस्या बन चुकी है। मौसम बदल रहा है। बारिष के समय सूखा पडता है और जब मौसम सूखा होना चाहिए तब बाढ आ जाती है। यह समस्या जलवायु परिवर्तन की वजह से है। भारत में जिलों में सूखे जैसी स्थितियां है।

सूखे से फसले नष्ट हो जाती है। और किसानों को भारी नुकसान होता है। भारत में हर साल सैकडों किसान तंग आकर आत्महत्या कर लेते है। तीन दिवसीय विज्ञान मेले में छात्र-छात्राओं ने वाद विवाद प्रतियोगिता, क्यिज प्रतियोगिता, ड्रॉइंग प्रतियोगिता, स्ट्रीप्ले (नुक्कड नाटक), साइंस मॉडल एग्जीबिशन, इक्स्टेम्परी, फिल्म शो, प्रतियोगिताओं में भाग लिया जिसमें सभी विजयी प्रतियोगिताओं को पुरुस्कृत किया गया जिसमें साइंस मॉडल प्रतियोगिता में नरेन्द्र पटेल ने प्रथम पुरूस्कार, नितिन जादौन दूसरा पुरूस्कार, एवं शिवराज सिंह यादव ने तीसरा पुरूस्कार प्राप्त किया। ड्राइंग प्रतियोगिता में योगेश सोनी ने प्रथम प्ररूस्कार प्राप्त किया व अनिल चौधरी ने दूसरा पुरूस्कार प्राप्त किया एवं मीरा खॉन ने तीसरा पुरूस्कार प्राप्त किया ।

डिवेट प्रतियोगिता में अंकित जॉभुलकर ने प्रथम पुरुस्कार प्राप्त किया व राकेश हेवसे ने दूसरा पुरूस्कार प्राप्त किया एवं अकुर राणा ने तीसरा पुरूस्कार प्राप्त किया। क्यिज प्रतियोगिता में शिवराज सिंह परिहार ने प्रथम पुरूस्कार प्राप्त किया व संतोष भदौरिया ने दूसरा पुरूस्कार प्राप्त किया एवं धर्मेन्द्र सैंगर ने तीसरा पुरूस्कार प्राप्त किया।

नुक्कड नाटक प्रतियोगिता में अरूण तिवारी ने प्रथम पुरुस्कार प्राप्त किया व हेमन्त पटेल ने दूसरा पुरूस्कार प्राप्त किया एवं गीता चाहर ने तीसरा पुरूस्कार प्राप्त किया। इक्स्टेम्परी प्रतियोगिता में प्रथम स्थान सतीश धाकड व दूसरा स्थान संतोष रजक एवं तीसरा स्थान हीरालाल तिवारी और फिल्म शो कार्यक्रम में सभी विद्यार्थियों को फिल्म शो के माध्यम से शरीर के अंगों एवं शरीर कैसे कार्य करता है। हमारा शरीर खाना कैसे पचाता है आदि को समझाया।

उपरोक्त के अतिरिक्त अन्य प्रतियोगिताओं में सामूहिक रूप से विजयी प्रतिभागियों को पुरुस्कार एवं मेडल प्रदान किये गये।कार्यक्रम की अध्यक्षता रूबी सिंह ने की तथा कार्यक्रम का संचालन श्री तरूण गौर जी ने किया कार्यक्रम में विषिष्ठ अतिथि के रूप में श्रीमती अर्चना यादव, संगीता सिकरवार, केशव नन्दा जी उपस्थित थे।

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